Saturday 8 February 2014

ओलंपिक के उद्‍घाटन समारोह में भारत हुआ शर्मसार

कुछ लोगो कि गलतियों के चलते ओलंपिक के उद्‍घाटन समारोह में भारत हुआ शर्मसार !
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सोच्चि (रूस)। शीतकालीन ओलंपिक खेलों का रंगारंग उद्‍घाटन समारोह शुरू हो 



चुका है और इसमें भाग ले रहे विभिन्न देशों के खिलाड़ी अपने वतन के राष्ट्रध्वज 


के साथ मार्चपास्ट कर रहे हैं लेकिन कैसा दुर्भाग्य है कि आपसी खींचतान के 


कारण 
आज इस मार्चपास्ट में भारत के तीन खिलाड़ी बगैर राष्ट्रीय ध्वज के हिस्सा

ले रहे 
रहे हैं।


भारतीय ओलंपिक संघ (आईओए) को अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति (आईओसी) ने नैतिक और प्रशासनिक

कारणों से निलंबित किया हुआ है, जिससे भारत के लूज खिलाड़ी शिवा केशवन, एलपाइन स्कायर हिमांशु

ठाकुर और क्रॉस कंट्री स्कायर नदीम इकबाल आईओसी ध्वज के तले उद्‍घाटन समारोह में भाग ले रहे हैं।


भारतीय एथलीट ‘व्यक्तिगत एथलीटों’ के वर्ग के अंतर्गत शीतकालीन खेलों में हिस्सा ले रहे हैं और ये

ओलंपिक ध्वज का प्रतिनिधित्व करेंगे। भारत के लिए यह शर्मसार करने वाली घटना होगी क्योंकि पूरी

दुनिया के अरबों लोगों ने फिश्ट ओलंपिक स्टेडियम में चल रहा उद्‍घाटन समारोह देखा लेकिन यहां पर राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा कहीं नजर नहीं आया। 


इस शीतकालीन ओलंपिक खेलों में यदि कोई भारतीय पदक जीत भी जाता है तो वह तिरंगे ध्वज के

साथ नहीं बल्कि आईओसी ध्वज के साथ नजर आएगा। 


आईओसी ने दिसंबर 2012 में आईओए को ओलंपिक चार्टर का पालन नहीं करने के लिए प्रतिबंधित

किया था। इसके कारण भारतीय एथलीटों, जिसमें मुक्केबाज शामिल हैं, को विश्व संस्था के झंडे तले

टूर्नामेंटों में भाग लेना पड़ा। 


           इसका जिमेवार कौन ?
जरा राजनीती से बाहर निकल कर सोचो यारो , आज दुनिया भर के लोग हमारे बारे में क्या सोच रहे

होंगे । हमारे खिलाड़ियो के दिल पे क्या गुजर रही होगी । सारा जहाँ अपना झंडा लहरा रहे हैं


हमारी माँ भारती के लाल आँखों से आंशु बहा रहे होंगे । सोचो यारो सोचो , किसकी गलती के कारन

आज हमें ये दिन देखना पर रहा हैं । क्या उसे इसकी सजा नहीं मिलनी चाहिए । मुझे आपके जबाब का

इन्तेजार रहेगा ।

               एक हिंदुस्तानी
             
               विजय कुमार 

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